राजधानी के तीरंदाजों को तराशने का काम साइंस कॉलेज के मैदान में किया जाएगा। खेल विभाग में नियुक्त एनआईएस कोच टेकलाल कुर्रे खिलाड़ियों को नियमित प्रशिक्षण देंगे। प्रशिक्षण के लिए विभाग ने सारे सामान खरीद लिए हैं। खिलाड़ियों की संख्या बढ़ने पर और सामना मंगाने की बात खेल संचालक जीपी सिंह कहते हैं। फिलहाल 43 सेट विभाग ने लिए हैं, जिसमें इंडियन राऊंड के 40 सेट हैं।
खेल विभाग में एनआईएस कोच की नियुक्ति के बाद से ही ऐसा प्रयास चल रहा था कि विभाग अपना एक नियमित प्रशिक्षण केन्द्र प्रारंभ करे जिसमें खिलाड़ियों को तराशा जाए। विभाग ने इसी मंशा के अनुरुप तीरंदाजी के सामानों की खरीदी की है। इसके बारे में कोच टेकलाल कुर्रे ने बताया कि विभाग ने मिनी, सब जूनियर, जूनियर और सीनियरों के 10-10 सेट तीर और धनुष के लिए हैं। इसी के साथ रिकर्व के दो और कपाऊंड का एक सेट है। रिकर्व और कपाऊंड के सेट बहुत ज्यादा महंगे आते हैं। उन्होंने बताया कि खिलाड़ियों को शुरुआत में इंडियन राऊंड के सेट से ही अभ्यास करवाया जाता है। वैसे तो इंडियन राऊंड ओलंपिक में नहीं है, लेकिन रिकर्व या कपाऊंड से खिलाड़ी सीधे शुरुआत नहीं कर पाते हैं। इस राऊंड के तीर-धनुष वजनदार होने के साथ बहुत ज्यादा तकनीकी होते हैं। ये आधुनिक तीर-धनुष हैं। इनका उपयोग ज्यादातर सीनियर खिलाड़ी ही करते हैं। पूछने पर श्री कुर्रे ने बताया कि प्रशिक्षण शिविर का समय सुबह को 6 से 9 और शाम को 4 से 7 बजे रखा गया है। उन्होंने बताया कि वतर्मान में उनके पास दस खिलाड़ी हैं जिनसे वे प्रशिक्षण की शुरुआत करेंगे। आगे जैसे-जैसे खिलाड़ियों को मालूम होगा वे आने लगेंगे।
आगे अकादमी की योजना है
खेल संचालक जीपी सिंह ने बताया कि विभाग की आगे अकादमी की योजना है। विभाग ने इसका प्रस्ताव शासन को भेजा है। जब तक अकादमी को मंजूरी मिले, तब तक विभाग ने सोचा कि एनआईएस कोच का उपयोग किया जाए और इसी मंशा को ध्यान में रखते हुए नियमित प्रशिक्षण केन्द्र प्रारंभ किया जा रहा है। केन्द्र के लिए 43 सेट उपलब्ध हैं, अगर खिलाड़ियों की संख्या में इजाफा होगा तो तत्काल और सेट मंगवा लिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य छत्तीसगढ़ में होने वाले 37वें राष्ट्रीय खेल हैं जिसके लिए खिलाड़ी तैयार करने हैं।
खेल विभाग में एनआईएस कोच की नियुक्ति के बाद से ही ऐसा प्रयास चल रहा था कि विभाग अपना एक नियमित प्रशिक्षण केन्द्र प्रारंभ करे जिसमें खिलाड़ियों को तराशा जाए। विभाग ने इसी मंशा के अनुरुप तीरंदाजी के सामानों की खरीदी की है। इसके बारे में कोच टेकलाल कुर्रे ने बताया कि विभाग ने मिनी, सब जूनियर, जूनियर और सीनियरों के 10-10 सेट तीर और धनुष के लिए हैं। इसी के साथ रिकर्व के दो और कपाऊंड का एक सेट है। रिकर्व और कपाऊंड के सेट बहुत ज्यादा महंगे आते हैं। उन्होंने बताया कि खिलाड़ियों को शुरुआत में इंडियन राऊंड के सेट से ही अभ्यास करवाया जाता है। वैसे तो इंडियन राऊंड ओलंपिक में नहीं है, लेकिन रिकर्व या कपाऊंड से खिलाड़ी सीधे शुरुआत नहीं कर पाते हैं। इस राऊंड के तीर-धनुष वजनदार होने के साथ बहुत ज्यादा तकनीकी होते हैं। ये आधुनिक तीर-धनुष हैं। इनका उपयोग ज्यादातर सीनियर खिलाड़ी ही करते हैं। पूछने पर श्री कुर्रे ने बताया कि प्रशिक्षण शिविर का समय सुबह को 6 से 9 और शाम को 4 से 7 बजे रखा गया है। उन्होंने बताया कि वतर्मान में उनके पास दस खिलाड़ी हैं जिनसे वे प्रशिक्षण की शुरुआत करेंगे। आगे जैसे-जैसे खिलाड़ियों को मालूम होगा वे आने लगेंगे।
आगे अकादमी की योजना है
खेल संचालक जीपी सिंह ने बताया कि विभाग की आगे अकादमी की योजना है। विभाग ने इसका प्रस्ताव शासन को भेजा है। जब तक अकादमी को मंजूरी मिले, तब तक विभाग ने सोचा कि एनआईएस कोच का उपयोग किया जाए और इसी मंशा को ध्यान में रखते हुए नियमित प्रशिक्षण केन्द्र प्रारंभ किया जा रहा है। केन्द्र के लिए 43 सेट उपलब्ध हैं, अगर खिलाड़ियों की संख्या में इजाफा होगा तो तत्काल और सेट मंगवा लिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य छत्तीसगढ़ में होने वाले 37वें राष्ट्रीय खेल हैं जिसके लिए खिलाड़ी तैयार करने हैं।
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