राजधानी के साई सेंटर में अब तीन की बजाए छह लाइन का एथलेटिक ट्रेक बनाने का फैसला किया गया है। अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी मो. रफीक के साथ जिला एथलेटिक्स संघ के पदाधिकारियों ने मांग की थी कि 6 लाइन का ट्रेक होने से कम से कम राज्य स्पर्धाओं का आयोजन हो सकेगा, इसी के साथ साई सेंटर में खिलाड़ियों की संख्या में इजाफा होने पर फिर से ट्रेक बनाने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
स्पोर्ट्स कांप्लेक्स के आउटडोर स्टेडियम में साई से मिट्टी वाला एथलेटिक ट्रेक बनाने की कवायद प्रारंभ कर दी है। प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी मो. रफीक ने कहा कि जब साई ट्रेक बना ही रहा है तो उसे तीन के स्थान पर 6 लाइन का ट्रेक बनाना चाहिए, ऐसा करने से राज्य स्पर्धाओं के आयोजन में आसानी होगी। यही बात जिला संघ के रवि और पवन धनगर ने भी कहीं। इन्होंने भी साई के सामने मांग रखी कि छह लाइन वाला ट्रेक बनाना ज्यादा उपयुक्त रहेगा।
साई सेंटर के प्रभारी शाहनवाज खान से जब इस बारे में बात की गई तो उन्होंने भी माना कि वास्तव में छह लाइन का ट्रेक ज्यादा उपयुक्त रहेगा। पहले तो उन्होंने कहा कि अभ्यास के लिए तीन लाइन पर्याप्त है, लेकिन जब उनसे कहा गया कि आगे साई जब बस्तर में चयन ट्रायल आयोजित करेगा और वहां से एथलेटिक्स के और खिलाड़ी आ जाएंगे तब परेशानी होगी तो उन्होंने इस बात को समझते हुए 6 लाइन का ट्रेक बनाने पर सहमति दे दी है। ट्रेक बनाने में जिला संघ की मदद ली जा रही है।
खिलाड़ियों का स्कूलों में प्रवेश- साई के प्रशिक्षकों ने अपने-अपने खेलों के खिलाड़ियों को राजधानी के स्कूलों में प्रवेश दिला दिया है। फुटबॉल के अंडर 17 के 15 खिलाड़ियों के साथ वालीबॉल, एथलेटिक्स, भारोत्तोलन के खिलाड़ियों को सप्रे स्कूल, वालीबॉल और फुटबॉल के कुछ खिलाड़ियों को जेएन पांडे स्कूल, जूडो के खिलाड़ियों को बालाजी स्कूल में प्रवेश दिलाया गया है। इंग्लिश मीडिया वाले कुछ खिलाड़ियों को खालसा स्कूल में प्रवेश दिलाया गया है। सेंटर के प्रभारी शाहनवाज खान ने बताया कि 11 जुलाई से जब बालिका खिलाड़ियों को सेंटर प्रारंभ हो जाएगा तो बालिका खिलाड़ियों को दानी, लक्ष्मीनारायण और सरस्वती स्कूल में प्रवेश दिलाया जाएगा।
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