रविवार, 5 दिसंबर 2010

छत्तीसगढ़ दोहरे खिताब से एक जीत दूर

राष्ट्रीय शालेय नेटबॉल में मेजबान छत्तीसगढ़ अपना विजयक्रम जारी रखते हुए बालक के साथ बालिका वर्ग के भी फाइनल में स्थान बना लिया है। अब यहां रविवार को उसका खिताबी मुकाबला बालिका वर्ग में हरियाणा और बालक वर्ग में दिल्ली से होगा।
नेताजी सुभाष स्टेडियम में खेली जा रही स्पर्धा में सुबह के सत्र में सेमीफाइनल मुकाबले खेले गए। मेजबान छत्तीसगढ़ की बालिका टीम ने शानदार खेल दिखाते हुए पंजाब को कड़े मुकाबले में २१-१८ से मात दी। पहले हॉफ में छत्तीसगढ़ १२-८ से आगे था। इस मैच में छत्तीसगढ़ को संघर्ष इसलिए करना पड़ा क्योंकि मेजबान टीम की कोच ने एक बार फिर से अच्छी खिलाडिय़ों को मैदान में उतरना जरूरी नहीं समङाा। कोच की गलती की वजह से रायपुर की खिलाडिय़ों को मैच की जानकारी ही नहीं थी। शिक्षा विभाग के सहायक संचालक खेल एसआर कर्ष ने जब रायपुर की खिलाडिय़ों को मैदान में नहीं देखा तो उन्होंने उनको फोन करके बुलाया तब मालूम हुआ कि खिलाडिय़ों को कोच ने मैच के बारे में जानकारी ही नहीं दी थी जिसके कारण खिलाड़ी सुबह मैदान नहीं आई थी। इन खिलाडिय़ों के साथ पहले दिन से ही पक्षपात किया जा रहा है।
बालिका वर्ग के दूसरे सेमीफाइनल में हरियाणा ने दिल्ली को कांटे के मैच में २३-१९ से मात देकर फाइनल में स्थान बनाया
बालक वर्ग के पहले सेमीफाइनल में छत्तीसगढ़ ने पंजाब को २४-१६ और दूसरे मैच में दिल्ली ने कर्नाटक को २२-१४ से परास्तक कर फाइनल में स्थान बनाया। फाइनल मुकाबले रविवार की सुबह होंगे। शाम के सत्र में पुरस्कार वितरण का कार्यक्रम होगा। शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल के निर्देश पर देश के ११ राज्यों से आए खिलाडिय़ों को शनिवार को सुबह के सत्र में मैच के बाद गंगरेल बांधा धुमाने ले जाया गया। शाम को खिलाडिय़ों को पुरखोती मुक्तांगन का भ्रमण करवाया गया।

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