छत्तीसगढ़ के ३० खिलाडिय़ों ने लेबल वन अंपायर बनने के िएळ यहां पर भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड द्वारा आयोजित परीक्षा दी। तीन घंटे के पेपर के बाद पेपरों को सील करके मुंबई भेज दिया गया है। अब परीक्षा के परिणाम करीब एक माह बाद आएंगे। परीक्षा के पहले अंपायरों को तीन दिनों तक नियमों के बारे में बीसीसीआई से आए प्रशिक्षकों ने जानकारी दी।
छत्तीसगढ़ स्टेट क्रिकेट संघ ने यहां पर लेबल वन अंपायरों की परीक्षा के साथ सेमिनार आयोजित किया है। इस चार दिनों के सेमिनार के तीसरे दिन प्रदेश के अंपयारों को नियमों की जानकारी देने के बाद रविवार को अंतिम दिन उनकी परीक्षा ली गई। परीक्षा में पास होने वालों को लेबल दो में जाने का मौका मिलेगा। यह परीक्षा लेने के लिए बीसीसीआई के स्पेनिंल सांडल आने वाले थे, पर वे तो नहीं आ पाएं लेकिन बीसीसीआई से आज पेपर आने के बाद दोपहर २ बजे से शाम ५ बजे तक परीक्षा हुई। इस परीक्षा में रायपुर के साथ बिलासपुर, महासमुन्द, कोरबा, भिलाई सहित प्रदेश भर के ३० वरिष्ठ खिलाडिय़ों ने भाग लिया। परीक्षा से पहले सेमिनार में बीसीसीाई से आये नरेन्द्र मेमन और राजीव रिसोड़कर ने क्रिकेट पिच, क्रीज,प्लेइंग एरिया,लाईनिंग के संबंध में जानकारी दी। इसके अलावा अंपारिंग के लॉ के तहत बाल बैट और विकेट के बारे में जानकारी दी। अंपायरिंग लॉ के स्कोरर, प्लेयर, विकेट कीपर, क्षेत्ररक्षक के बारे में जानकारी दी। भावी अंपायरों को मैच की विडियो रिकार्डिंग दिखाकर भी जानकारी दी गई। लेबल वन परीक्षा अंतरराष्ट्रीय अंपायर बनने की पहली सीढ़ी है। इस परीक्षा को पास करने वालों का तीन साल के अनुभव के बाद लेबल दो की परीक्षा देने का मौका मिलेगा।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें