बुधवार, 9 जून 2010

पुरस्कार मिले, चेहरे खिले

राजधानी के मैदानों में २१ दिनों तक पसीना बहाने के बाद आज जब खिलाडिय़ों को उनकी मेहनत के रूप में पुरस्कार मिले तो पुरस्कार पाने वाले खिलाडिय़ों के चेहरे खिल उठे। पुरस्कारों ने खिलाडिय़ों को इस बात के लिए भी प्रोत्साहन देने का काम किया कि उनको अब ताउम्र खेलों से नाता जोड़े रखना है। इधर खिलाडिय़ों को पुरस्कार देने के साथ खेलमंत्री लता उसेंडी ने खिलाडिय़ों से कहा कि वे भी अब अपने राज्य की मेजबानी में होने वाले ३७वें राष्ट्रीय खेलों में पदक जीतने के बारे में सोचे और अपनी प्रतिभा को इस तरह से विकसित करें कि उनको प्रदेश की टीम से राष्ट्रीय खेलों में खेलने का मौका मिले।
नेताजी स्टेडियम में सुबह के समय जिन खिलाडिय़ों को प्रशिक्षण शिविर के बाद उत्कृष्ट खिलाड़ी के रूप में चुना गया और पुरस्कार के लिए बुलाया गया तो उनकी खुशी का ठिकाना न था। खेलमंत्री के हाथों पुरस्कार प्राप्त कर खिलाड़ी गर्व महसूस कर रहे थे। पुरस्कार पाने वाले हर चेहरे पर मुस्कान थी। २१ दिनों के प्रशिक्षण के बाद करीब ५० खिलाडिय़ों को उनके खेल और अनुशासन के कारण इस काबिल पाया गया कि उनको उत्कृष्ट खिलाड़ी घोषित करके पुरस्कार दिया गया। ऐसे खिलाडिय़ों में फुटबॉल से राधिका, चांदनी श्रीवास, साफ्टबॉल से कीर्ति विश्वकर्मा, कुशो छुरा, हॉकी से मो. फाजिल कुरैशी, रोहित नायक, वालीबॉल से शोभ्रा वांद्रे, गौरव वर्मा, जूडो से पूजा, अजय तिवारी, कराते से पुर्वी साहू, गोपेन्द्र बाघ, षभ किशोर अग्रवाल, मीनाक्षी सिंहा, टेबल टेनिस से रश्मीत कौर, पुष्कर भंडारकर, नारायणी देसाई, शिखर सचदेव, नेटबॉल से Ÿोया श्रीवास्तव, वियोम शर्मा, बास्केटबॉल से ममता देवांदन, एंजल कुमार, धनांजली बधेल, कीर्ति तिवारी, अजय शर्मा, टेनीक्वाइट से दानिश खान, रजनी बघेल, आयुषि चौहान, म्यूथाई से नीलिमा यादव, शाश्वत मिश्रा, जंप रोप से जया कुरियन, निखिल मानिकपुरी, जिम्नास्टिक से शालु सोनपीपरे, पूजा भोई, जी. अविनाश, रविकांत साहू, वूशू से प्रकाति सोनी, अली असगर, ताइक्वांडो से कामनी साहू, करूणा जंघेल, त्रिदेव ध्रुव, स्नेहा मेमन, बैडमिंटन से अरूनी चौहान, के. हेमंत, का चयन उनके खेलों के प्रशिक्षकों ने किया और इनको खेल विभाग की तरफ से पुरस्कार दिया गया।
इन खिलाडिय़ों के साथ खिलाडिय़ों को तराशने वाले प्रशिक्षकों वालीबॉल के अजीत कुट्टन, स्मृित साव, अभय गणोरकर, सूरज महाडिक, एथलेटिक्स के रवि धनगर, बास्केटबॉल के उमेश सिंह ठाकुर, निकिता आडिल, निखत अंजुम, शरद पंसारी, फुटबॉल के मुश्ताल अली प्रधान, सरिता कुजूर, साफ्टबॉल के आलोक मिश्रा, आरिफ खान, निंगराज रेड्डी, संजू शुक्ला, कमलेश कश्यप, हैंडबॉल के सुकचंद वर्मा, कमलेश, सुनील भोई, हॉकी के नजीर अहमद, रश्मि तिर्की, कराते के तुलसी सपहा, हर्षा साहू, जूडो की नीलम तिवारी, टेनीक्वाइट की प्रियंका साहू, वरूण पांडे, मोहन कुमार, म्यूथाई के अनिस मेमन, नेटबॉल के सुधीर वर्मा, सरिता यादव अंतिमा परिहार, ताइक्वांडो के कुमार विश्वकर्मा, विष्णु साहू, टेबल टेनिस के विनय बैसवाडे, मोहन आप्टे, सौरभ मोदी, अरविंद मिश्रा, कबड्डी के पीजी उमाठे, कासीराम ध्रुव, बुद्धेश्वरी, वुशू के सुहैल हैदरी, रेणु तिवारी, बैडमिंटन की कविता दीक्षित, जिम्नास्टिक के उदय सिंह ठाकुर का भी सम्मान किया गया। शिविर में शामिल सभी खिलाडिय़ों को प्रमाणपत्र दिए गए।

समापन नहीं शुरुआत कहें: खेलमंत्री
प्रशिक्षण शिविर के समापन समारोह की मुख्यअतिथि खेलमंत्री लता उसेंडी ने इस अवसर पर कहा कि शिविर के समापन को समापन न मानकर इसको खिलाडिय़ों के खेल जीवन की शुरुआत माना जाए। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार प्रदेश में खेलों की ज्यादा से ज्यादा सुविधाएं देने का प्रयास कर रही है। हमारे लिए यह गर्व की बात है कि बहुत कम साधनों में भी हमारे खिलाड़ी राष्ट्रीय स्तर पर बहुत ज्यादा सफलता प्राप्त कर रहे हैं। उन्होंने खिलाडिय़ों से कहा कि अपने राज्य में राष्ट्रीय खेल होने वाले हैं। ३७वें राष्ट्रीय खेलों की मेजबानी हमने ली है। अगर अभी से हमारे ये नए खिलाड़ी तैयारी करें तो इन राष्ट्रीय खेलों में प्रदेश की टीमों से खेलकर राज्य के लिए पदक जीत सकते हैं। उन्होंने कहा कि हमारा विभाग प्रदेश के खेल संघों के साथ मिलकर यह योजना बनाने में लगा कि कैसे राष्ट्रीय खेलों में हमें ज्यादा पदक मिल सकते हैं। खेलमंत्री ने खिलाडिय़ों से कहा कि यह हमारे राज्य के लिए गर्व की बात है कि यहां पर कामनवेल्थ की बैटन ८ अगस्त को आने वाली है। इस बैटन के कार्यक्रम में आप सब भी शामिल होंगे।
कार्यक्रम में खेल संचालक जीपी सिंह ने कहा कि अपने राज्य में प्रशिक्षकों की कमी है, ऐसे में गर्मियों की छुट्टियों का फायदा उठाते हुए स्कूलों-कॉलेजों के प्रशिक्षकों को लेकर ये शिविर लगाए जाते हैं। उन्होंने कहा कि शिविरों में खिलाडिय़ों ने जो कुछ भी सीखा है उनके नियमित अभ्यास की जरूरत पड़ेगी। इस अवसर पर उपसंचालक ओपी शर्मा के साथ वरिष्ठ खेल अधिकारी राजेन्द्र डेकाटे, विष्णु श्रीवास्तव, रामबिसाल साहू, विजय कुमार सहित कई खेल संघों के पदाधिकारी उपस्थित थे।

2 टिप्‍पणियां:

मनोज कुमार ने कहा…

अच्छा रिपोर्ट!

अविनाश वाचस्पति ने कहा…

चेहरे फूल हो गए
जिन्‍हें नहीं मिले पाए पुरस्‍कार
वे बबूल हो गए।

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