रविवार, 24 जनवरी 2010

साई सेंटर कामनवेल्थ के चक्कर में लटका

प्रदेश की राजधानी रायपुर में खुलने वाले भारतीय खेल प्राधिकरण का साई प्रशिक्षण सेंटर दिल्ली में इस साल होने वाले कामनवेल्थ के चक्कर में लटक गया है। इस सेंटर के लिए जहां नगर निगम ने स्पोट्र्स कॉम्पलेक्स का आउटडोर स्टेडियम पहले ही साई के हवाले कर दिया है, वहीं साई के क्षेत्रीय कार्यालय से यहां सेंटर प्रारंभ करने के लिए दिल्ली पूरी योजना बनाकर भेजी जा चुकी है। दिल्ली से मंजूरी मिलने के बाद ही यहां का सेंटर प्रारंभ करने की बात साई के क्षेत्रीय निदेशक कर रहे हैं। इधर जानकार कहते हैं कि सारा बजट कामनवेल्थ के लिए देने के कारण इस सेंटर का इस साल प्रारंभ होना मुश्किल है। इस सेंटर के प्रारंभ होने का राजधानी के खिलाडिय़ों को बेताबी से इंतजार है।
प्रदेश के खेल एवं युवा कल्याण विभाग की पहल पर राजधानी के स्पोट्र्स कॉम्पलेक्स में साई का सेंटर प्रारंभ करने की पहल पिछले साल ही की गई थी। इस सेंटर को प्रारंभ करने में आई सारी बाधाओं को दूर करने के बाद पिछले साल ही नगर निगम चुनाव के पहले आउटडोर स्टेडियम साई को सौंपने के लिए नगर निगम और साई के बीच एमओयू भी हो चुका है। इस एमओयू के बाद साई के क्षेत्रीय कार्यालय भोपाल के निदेशक आरके नायडु ने कहा था कि अब जल्द ही इस सेंटर को प्रारंभ कर दिया जाएगा। इस सेंटर के दिसंबर में प्रारंभ होने की संभावना जताई गई थी। लेकिन अब तक यह प्रारंभ नहीं हो सका है। सेंटर के प्रारंभ न होने का कारण जानने जब साई के निदेशक आरके नायडु से संपर्क किया गया तो उन्होंने बताया कि इस सेंटर के लिए पूरी योजना बनाकर साई के दिल्ली कार्यालय को भेज दी गई है, वहीं से मंजूरी मिलते ही सेंटर प्रारंभ हो जाएगा। इधर जानकारों का कहना है कि भले साई के भोपाल कार्यालय ने दिल्ली को योजना बनाकर भेज दी है, लेकिन दिल्ली में इस साल होने वाले कामनवेल्थ खेलों के कारण इस सेंटर का अभी प्रारंभ होना संभव नहीं है। जानकार बताते हैं कि सारा का सारा बजट कामनवेल्थ खेलों के लिए दे दिया गया है, ऐसे में जबकि बजट ही नहीं है तो सेंटर कैसे प्रारंभ होगा। इस बारे में साई के निदेशक कुछ बोलना नहीं चाह रहे हैं। खेल संचालक जीपी सिंह से जब इस बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि अब हमारे विभाग के हाथ में कुछ नहीं है, अब जो करना है साई को करना है।

कोई टिप्पणी नहीं:

हिन्दी में लिखें

खेलगढ़ Headline Animator

खेलगढ़ की चर्चा हिन्दुस्तान में