शुक्रवार, 23 अक्तूबर 2009

सारंग बंधुओं को प्रमोशन की उम्मीद

छत्तीसगढ़ के अंतरराष्ट्रीय खेल सितारे रूस्तम सारंग के साथ उनके छोटे भाई अजयदीप सारंग ने कामनवेल्थ भारोत्तोलन में स्वर्ण और रजत पद जीते हैं। इन पदकों के बाद अब इनको प्रमेशन की उम्मीद हो गई है। रूस्तम जहां पुलिस विभाग में कार्यरत हैं, वहीं अजय बीएसएनएल में काम करते हैं। एडीजी रामनिवास ने रूस्तम के स्वर्ण जीतने पर खुशी जाहिर करते हुए प्रमोशन की संभावना जताई है।
छत्तीसगढ़ के खेल जगत के लिए गुरुवार का दिन खास रहा। इस दिन मलेशिया में छत्तीसगढ़ के दो माटी पुत्रों ने पदक जीतने का कमाल दिखाया। वैसे ये दोनों भाई रूस्तम सारंग के साथ अजयदीप सारंग लगातार राष्ट्रीय के साथ अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पदक जीतने का काम कर रहे हैं। रूस्तम ने जहां दूसरी बार अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पदक जीता है, वहीं अजय ने पहली बार पदक जीता है। वैसे वह पहले विश्व चैंपियनशिप में खेल चुके हैं, पर तब उनको पदक नहीं मिला था।
रूस्तम के पदक जीतने पर प्रतिक्रिया पूछा जाने पर एडीजी राम निवास ने कहा कि यह पुलिस विभाग के लिए गौरव की बात है कि उनके एक जवान ने विदेश में जाकर कामनवेल्थ में स्वर्ण जीतने का काम किया है। उन्होंने पूछने पर कहा कि जरूर रूस्तम प्रमोशन के हकदार हैं और उनको नियमानुसार प्रमोशन जरूर मिलेगा। रूस्तम इस समय तीसरी बटालियन में एपीसी हैं।

ओलंपिक में पदक जीतने की क्षमता है

दोनों खिलाडिय़ों के पिता और कोच विक्रम पुरस्कार प्राप्त बुधराम सारंग को इस बात पर गर्व है उनके लाड़ले अपने राज्य छत्तीसगढ़ के साथ देश का नाम विदेश में रौशन करने का काम कर रहे हैं। वे कहते हैं कि मैंने अपनी क्षमता के अनुसार दोनों बच्चों को सुविधाएं देने का काम किया है। बहुत सी सीमित सुविधाओं में दोनों ने जैसा प्रदर्शन किया है, उससे साफ लगता है कि अगर इनको और सुविधाएं मिले तो ये बच्चे और अच्छा प्रदर्शन कर सकते हैं। पूछने पर वे कहते हैं कि मैं उनके कोच होने के नाते जरूर यह बात कह सकता हूं कि इन बच्चों में ओलंपिक में भी पदक जीतने की क्षमता है।
इन दोनों बच्चों को ओलंपिक में पदक जीतने के लायक अंतरराष्ट्रीय वालीबॉल खिलाड़ी और राज्य पहले गुंडाधूर पुरस्कार प्राप्त पुलिस विभाग में कार्यरत आशीष अरोरा भी मानते हैं। उनका कहना है कि मैं तो काफी पहले से यह बात कहते रहा हूं कि जिस उम्र में रूस्तम सीनियर वर्ग में पदक जीत रहे हैं, उसको देखते हुए यह तय है कि अगर इस खिलाड़ी को अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाएं खास कर डाइट के लिए पर्याप्त राशि दी जा ेतो यह खिलाड़ी ओलंपिक में देश को पदक दिला सकते हैं। आशीष कहते हैं कि रूस्तम के पुलिस विभाग में होने के कारण वे उनके खेल को करीब से जानते हैं। रूस्तम का छोटा भाई भी काबिल है और उसमें भी ओलंपिक में पदक जीतने की क्षमता है।

खेल मंत्री की बधाई

प्रदेश के इन दोनों खिलाडिय़ों को पदक जीतने पर खेल मंत्री लता उसेंडी ने बधाई देते हुए कहा कि ऐसे खिलाडिय़ों को जिस भी मदद की जरूरत होगी हमारी सरकार देगी। खेल संचालक जीपी सिंह ने भी कहा कि जो खिलाड़ी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पदक ला रहे हैं उनसे जरूर यह उम्मीद की जा सकती है कि वे ओलंपिक में भी पदक ला सकते हैं। अब इसके लिए उनको किस तरह की मदद की दरकार है, वह योजना बनाकर खेल विभाग को दी जाए तो शासन से मदद दिलाने का काम हम करेंगे। पदक विजेताओं को डीजी विश्व रंजन के साथ एडीजी रामनिवास ने भी बधाई दी है।

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